रमना प्रखंड के अंतिम छोर पर स्थित कारीबथान गांव मूलभूत सुविधा से वंचित है
झारखंड सवेरा
रमना : आजादी के 78 वर्ष और पंचायती राज के 14 वर्ष बाद भी सड़क विहीन है कारीबथान गांव। किसी भी गांव समाज के विकास के लिए अतिआवश्य सड़क जिस गांव में अच्छी सड़क नहीं हो उसका विकास केवल कागजो पर ही हो सकता है। गांव की विकास की रीढ़ है अच्छी सड़क लेकिन आज भी ऐसे गांव हैं जंहा पहुंच पथ की स्थिति दयनीय हैं ऐसा ही गांव है बुल्का पंचायत अंतर्गत कारीबथान जिस ग्राम को आज भी इस प्रखंड के कम ही लोग जानते हैं। क्योंकि इस गांव में जाने के लिए सुगम रास्ता आज भी नहीं हैं गर्मी ठंढी में तो लोग किसी प्रकार आना जाना कर लेते हैं। लेकिन सबसे मुश्किल इनको बरसात में होता है, जंगली और प्रखंड के दक्षिण दिशा में अंतिम क्षेत्र होने के कारण जनप्रतिनिधियों के साथ ही साथ अधिकारियो की भी उपेक्षा का शिकार हैं।सड़क की दयनीय स्थिति के बारे में ग्रामीणों से पूछा गया तो दुःखी और उग्र मन से बोले की नेता मुखिया केवल बोट के समय ही दीखते हैं इसके बाद तो दिया लेकर खोजने के बाद भी नहीं कोई दीखता जर्जर सड़क की स्थिति ठीक करने के वादा सभी लोग करते हैं। लेकिन कोई इसकी ओर ध्यान नहीं देता।